श्रेणी: समाजिक वर्ण व्यवस्था
-
स्थानीय ब्राह्मण सभा पुनर्गठन की आवश्यकता
Categories: समाजिक वर्ण व्यवस्थादिनांक 22 मार्च 2025धर्म और अधर्म – समय सूचक यंत्र की भांति समय वृत्त निरंतर घूम रहा है । परिवर्तन प्रकृति का नियम है । दिन के पश्चात रात और रात के पश्चात दिन का आगमन अवश्य होता है । विश्व में कभी धर्म का राज स्थापित होता है तो कभी अधर्म का । सृष्टि…
-
समर्थन
Categories: सामाजिक जन चेतनाचेतन विचार – जन चेतना # अगर मैं देश सनातन – धर्म, संस्कृति के हित में हूं तभी आप मेरा समर्थन करें अन्यथा नहीं।*चेतन कौशल “नूरपुरी”
-
मक्कारी
Categories: समाजिक वर्ण व्यवस्थाचेतन विचार – सामाजिक बुरायाँ # समाज में क्षेत्र, भाषा, जाति, धर्म, ऊंच-नीच, रंग, मत, पंथ, संप्रदाय, लिंगादि भेद-भाव फैलाना और सनातनी समाज, देश, धर्म- संस्कृति को मिटाना ही मक्कारों की राजनीति है। *चेतन कौशल “नूरपुरी”